हम सभी जानते हैं कि इस समय सोशल मीडिया पर चर्चित खबरों में उर्फी जावेद का नाम जरूर लिया जाता है, कई लोग उनकी ड्रेस के बारे में बुरा-भला कह रहे हैं, हर चीज से अपनी ड्रेस बनाना भी एक हुनर है. हां, चीजों का सही इस्तेमाल कैसे करना है यह उर्फी जावेद से सीखना चाहिए, हम एक आजाद मुल्क में रहते हैं और हर नागरिक को अपने हिसाब से रहने, पहनने, खाने, पीने और घूमने का पूरा हक है।
लोगों ने हमेशा साड़ी में रहने वाली सीता मैया पर भी उंगली उठाई है, इंसान का चरित्र उसके कपड़ों से नहीं उसके वजूद से पता चलता है, इतिहास गवाह है कि हर कामयाब इंसान के पीछे नफरत ज्यादा होती है, लोगों ने किसी को नहीं छोड़ा
पहनावे के बारे में लोग कहते हैं कि यह हमारे संस्कार में नहीं है, क्या आज की नई पीढ़ी हर तरह से हमारी संस्कृति का पालन कर पाएगी, क्या हर लड़की लड़कों की बहन और हर लड़का लड़कियों के लिए भाई बनेगा, नहीं नहीं, फिर लोग क्यों आते हैं संस्कृति का पाठ पढ़ाने के लिए, हम एक आज़ाद देश में रहते हैं, हमें अपनी शर्तों पर जीने का पूरा अधिकार है,